इजराइली PM ने किया जंग का ऐलान: हमास ने 7 शहरों में 5 हजार रॉकेट दागे, 6 की मौतें, 200 से ज्यादा लोग घायल…
Last Updated on 1 year by City Hot News | Published: October 7, 2023
- 1:23हमास ने शनिवार सुबह गाजा पट्टी से इजराइल पर रॉकेट से हमला किया।
- गाजा पट्टी पर हमास हेडक्वार्टर में टीवी पर हमले की खबर देखने के बाद हमास के लीडर्स ने नमाज पढ़ी।
- अश्कलोन शहर पर गिरे रॉकेट से हुई तबाही का ये वीडियो वायरल हो रहा है।
- स्देरोट शहर में घरों की छत पर हमास के लड़ाकों ने घुसपैठ की।
- स्देरोट शहर में हमास के लड़ाकों को एक इमारत को घेर लिया है। यहां पुलिस के साथ मुठभेड़ हुई है।
- हमास के हमले के बाद इजराइली सेना का F-16 विमान उड़ान भरते हुए दिखा।
- हमास के हमले के बाद इजराइल की इमारत से उठते धुएं को देखा जा सकता है।
- अश्कलोन शहर में रॉकेट पार्किंग एरिया में गिरा जिसके बाद कारों में आग लग गई।
- अश्कलोन शहर में रॉकेट दागे जाने के तीन घंटे बाद गाड़ियों में लगी आग पर काबू पाया गया।
तेल अवीव// फिलिस्तीनी संगठन हमास के हमलों के बाद इजराइल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने जंग का ऐलान कर दिया है। उन्होंने कहा- इजराइल के नागरिकों, ये जंग है और हम इसे जरूर जीतेंगे। दुश्मनों को इसकी कीमत चुकानी होगी।
हमास ने शनिवार सुबह करीब 8 बजे इजराइल राजधानी तेल अवीव, स्देरोट, अश्कलोन समेत 7 शहर में रॉकेट दागे। अलजजीरा की रिपोर्ट के मुताबिक, ये रॉकेट रिहायशी इमारतों पर गिरे हैं। 6 लोगों की मौत हो गई है। 200 से ज्यादा लोग घायल हुए हैं। मरने वालों का आंकड़ा बढ़ सकता है।
हमास ने दावा किया है कि उन्होंने इजराइल पर 5 हजार रॉकेट्स से हमला किया है। वहीं, इजराइल की सेना का कहना है कि गाजा पट्टी से 2,200 रॉकेट फायर किए गए।
टाइम्स ऑफ इजराइल की रिपोर्ट के मुताबिक हमास ने इन हमलों की जिम्मेदारी लेते हुए इजराइल के खिलाफ मिलिट्री ऑपरेशन शुरू कर दिया है। इधर, इजराइल की सेना ने ‘ऑपरेशन आयरन स्वॉर्ड’ शुरू कर दिया है। सेना हमास के ठिकानों पर हमले कर रही है।
इसके पहले सेना कहा था कि वो जंग के लिए तैयार है। आर्मी ने अपने सैनिकों के लिए ‘रेडिनेस फॉर वॉर’ का अलर्ट जारी कर दिया था।
गाजा पट्टी पर हमास हेडक्वार्टर में टीवी पर हमले की खबर देखने के बाद हमास के लीडर्स ने नमाज पढ़ी।
बड़े अपडेट्स…
- येरूशलम पोस्ट के मुताबिक, हमास लड़ाकों ने कई कस्बों पर कब्जा कर लिया है।
- इजराइल की अनादोलु एजेंसी के मुताबिक, जवाबी कार्रवाई में 4 फिलिस्तीनी मारे गए हैं।
हमास बोला- ये अल-अक्सा मस्जिद को अपवित्र करने का बदला
हमास के सैन्य कमांडर मोहम्मद दीफ ने कहा- चल रहे ऑपरेशन को अल-अक्सा फ्लड नाम दिया गया है। ये येरूशलम में अल-अक्सा मस्जिद को इजराइल की तरफ से अपवित्र करने का बदला है। दरअसल, इजराइली पुलिस ने अप्रैल 2023 में अल-अक्सा मस्जिद में ग्रेनेड फेंके थे।
अश्कलोन शहर पर गिरे रॉकेट से हुई तबाही का ये वीडियो वायरल हो रहा है।
सोशल मीडिया पर हमले की तस्वीरें वायरल
हमले से जुड़े वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा हैं। अश्कलोन शहर में हुए हमले के एक वीडियो में इमारत और सड़कों पर खड़ी गाड़ियों को जलते देखा जा सकता है। हमले में 5 लोगों की मौत हो गई है। मरने वालों में 70 साल की बुजुर्ग महिला है।
तेल अवीव शहर में रॉकेट गिरने के बाद काफी तबाही हुई है।
सड़कों पर घूमते दिख रहे हमास के लड़ाके
इजराइल हमास को आतंकी संगठन कहता है इसलिए शनिवार को हुए हमले को इजराइल ने आतंकी हमला बताया है। सोशल मीडिया पर कई वीडियो सामने आ रहे हैं, जिनमें लड़ाकों को घूमते देखा जा सकता है। हालांकि इन वीडियोज की पुष्टि नहीं हो पाई है। अश्कलोन और तेल अवीव में सैनिकों की संख्या बढ़ा दी गई है।
स्देरोट शहर में घरों की छत पर हमास के लड़ाकों ने घुसपैठ की। इस शहर के एक पुलिस स्टेशन पर कब्जा कर लिया है।
स्देरोट शहर में हमास के लड़ाकों को एक इमारत को घेर लिया है। यहां पुलिस के साथ मुठभेड़ हुई है। कई लोगों के मारे जाने की आशंका है।
सऊदी देने वाला था इजराइल को मान्यता, इसी बीच हमास ने किया हमला
ये हमला ऐसे समय हो रहा है जब अमेरिका सऊदी अरब और इजराइल के बीच समझौता करवाकर इजराइल को मान्यता दिलाने की कोशिश कर रहा है। दरअसल, कुछ दिन पहले ही सऊदी अरब के क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान ने कहा था कि वो इजराइल के साथ रिश्ते सामान्य करने के बेहद करीब हैं।
क्राउन प्रिंस ने उन रिपोर्ट्स को भी खारिज कर दिया था, जिसमें कहा गया था कि फिलिस्तीन के मुद्दे को लेकर सऊदी अरब ने इजराइल के साथ रिश्ते सुधारने की बातचीत को रोक दिया है। हालांकि, MBS ने कहा- हमारे लिए ये मुद्दा बेहद अहम है। इस मसले को सुलझाना बहुत जरूरी है, जिससे फिलिस्तीनियों का जीवन आसान हो सके।
अश्कलोन शहर में रॉकेट दागे जाने के तीन घंटे बाद गाड़ियों में लगी आग पर काबू पाया गया।
3 महीने पहले इजराइली हमले में 12 फिलिस्तीनियों की मौत हुई थी
इजराइल और फिलिस्तीन के बीच जेनिन शहर में 2 दिन के ऑपरेशन में करीब 12 फिलिस्तीनियों की मौत हुई थी। इस रेड के दौरान एक इजराइली सैनिक की भी मौत हो गई थी। इस बीच तेल अवीव में एक हमास सपोर्टर अपनी कार लेकर बस स्टॉप में घुस गया और लोगों पर चाकू से हमला करने लगा था।
नीचे देखिए शनिवार के हमले के बाद के हालात…
अश्कलोन शहर में रॉकेट पार्किंग एरिया में गिरा जिसके बाद कारों में आग लग गई।
अश्कलोन शहर में लगी आग को बुझाया जा रहा है। वहां रेस्क्यू ऑपरेशन चल रहा है।
तेल अवीव में हुए हमले के बाद आसमान में रॉकेट का धुआं देखा गया।
हमास के हमले के बाद इजराइल में बदले की कार्रवाई के लिए तैयारी की जा रही है। इस बीच तेल अवीव में इजराइली सेना का F-16 विमान उड़ान भरते हुए दिखा।
हमास के हमले के बाद इजराइल की इमारत से उठते धुएं को देखा जा सकता है।
इजराइल और फिलिस्तीन के बीच क्यों है विवाद
मिडिल ईस्ट के इस इलाके में यह संघर्ष कम से कम 100 साल से चला आ रहा है। यहां वेस्ट बैंक, गाजा पट्टी और गोलन हाइट्स जैसे इलाकों पर विवाद है। फिलिस्तीन इन इलाकों समेत पूर्वी यरुशलम पर दावा जताता है। वहीं, इजराइल यरुशलम से अपना दावा छोड़ने को राजी नहीं है।
गाजा पट्टी इजराइल और मिस्र के बीच में है। यहां फिलहाल हमास का कब्जा है। ये इजराइल विरोधी समूह है। सितंबर 2005 में इजराइल ने गाजा पट्टी से अपनी सेना वापस बुला ली थी। 2007 में इजराइल ने इस इलाके पर कई प्रतिबंध लगा दिए। फिलिस्तीन का कहना है कि वेस्ट बैंक और गाजा पट्टी में स्वतंत्र फिलिस्तीन राष्ट्र की स्थापना हो।
हमास: कैसे और क्यों बना
- 1948 में इजराइल के जन्म के बाद भी फिलिस्तीन से उसका संघर्ष हर स्तर पर जारी रहा। इजराइल को जब लगा कि डिप्लोमैटिक लेवल पर वो फिलिस्तीन के सामने कमजोर पड़ रहा है, तो 1970 के दशक में उसने फिलीस्तीन के एक कट्टरपंथी संगठन को उदारवादी फिलिस्तीन नेताओं के विरोध में खड़ा कर दिया। इसको नाम दिया गया हमास। हालांकि, हमास की औपचारिक स्थापना 1987 में मानी जाती है।
- इजराइल के पूर्व जनरल यित्जाक सेजेव ने कहा था- जहर से जहर मारने की यह नीति एक ऐतिहासिक गलती थी। इजराइली सरकार ने मुझे हमास के लिए बजट भी दिया था। इसका अफसोस हमें आज भी है। सेजेव 1980 के दशक में गाजा के गवर्नर भी रहे।
- हमास ने फिलिस्तीन के लिबरल लीडरशिप को धीरे-धीरे किनारे कर दिया और खुद फिलीस्तीन आंदोलन का झंडाबरदार बन गया। इसमें 90% युवा फिलिस्तीनी हैं।
- हमास को तुर्किये और कतर से फंडिंग मिलती है। हमास के एक नेता खालिद मेशाल ने तो कतर में इसका दफ्तर भी खोला था। ईरान भी हमास को हथियार और पैसा देता है। हालांकि, ईरान शिया मुल्क है, जबकि अरब वर्ल्ड सुन्नी है।
हमास में करीब 27 हजार लोग हैं
- ‘टाइम्स ऑफ इजराइल’ के मुताबिक, हमास में करीब 27 हजार लोग हैं। इन्हें 6 रीजनल ब्रिगेड में बांटा गया है। इसकी 25 बटालियन और 106 कंपनियां हैं। इनके कमांडर बदलते रहते हैं।
- हमास में 4 विंग हैं। मिलिट्री विंग के चीफ हैं- इज अद-दीन अल कासिम। पॉलिटिकल विंग की कमान इस्माइल हानिया के हाथों में हैं। इस विंग में नंबर दो पर हैं मूसा अबु मरजूक। एक और नेता हैं खालिद मशाल। इंटरनेशनल अफेयर्स के लिए यह मुस्लिम ब्रदरहुड पर निर्भर है। एक सोशल विंग भी है।
- इजराइल के उन हिस्सों पर कब्जा करना, जिनमें ज्यादातर फिलीस्तीनी हैं। एक स्वतंत्र देश के रूप में खुद को स्थापित करना।
- कई साल बाद अब हमास इजराइल को परेशान कर पाया है। इसके सदस्य आम लोगों की भीड़ में शामिल होकर इजराइली सैनिकों पर हमले करते हैं। इजराइल की ताकत के चलते अब ज्यादा मदद नहीं मिल पा रही। हर बार झड़प में हमास को ही नुकसान हुआ।