मोदी सरकार के तीसरे कार्यकाल का पहला पूर्ण बजट पेश: नौकरीपेशा की 12.75 लाख तक की इनकम टैक्स फ्री, निचले सभी स्लैब का टैक्स सरकार माफ करेगी; ये फायदा नई रिजीम में…

Last Updated on 3 hours by City Hot News | Published: February 1, 2025

नई दिल्ली// वित्तमंत्री सीतारमण ने मोदी सरकार के तीसरे कार्यकाल का पहला पूर्ण बजट पेश किया। टोटल बजट ₹50.65 लाख करोड़ का है। बजट में नौकरीपेशा के लिए 12.75 लाख तक की आय टैक्स फ्री कर सरकार ने मध्यम वर्ग को साधा और दिल्ली को भी जहां 4 दिन बाद वोटिंग है।

बजट में सीतारमण ने इलेक्ट्रिक कार, मोबाइल और LED सस्ते होने का रास्ता खोला। कैंसर और कुछ जरूरी दवाओं के दाम भी घटेंगे।

सरकार ने इसके जरिए बिहार को साधने की कोशिश भी की है जहां साल के आखिर में चुनाव होने हैं। मधुबनी साड़ी पहने सीतारमण ने भाषण के 9वें मिनट में बिहार का जिक्र कर मखाना बोर्ड बनाने का ऐलान किया। 77 मिनट के भाषण में 9 बार बिहार की घोषणाएं कींं।

पढ़िए बजट में क्या, क्यों हुआ और क्या होगा

टैक्स छूट: दिल्ली के नौकरीपेशा 63% पुरुषों, 83% महिलाओं पर असर

क्या हुआ: नौकरीपेशा के लिए 12.75 लाख तक की इनकम टैक्स फ्री कर दी गई। 6 की जगह 7 टैक्स स्लैब बनाई हैं।

क्यों हुआ: 5 फरवरी को दिल्ली विधानसभा चुनाव है। टैक्स छूट का असर यहां के नौकरी करने वाले 63% पुरुषों और 83% महिलाओं पर पड़ेगा। एक रिपोर्ट के मुताबिक, राजधानी में 22 लाख लोग रिटर्न फाइल करते हैं।

क्या होगा: विधानसभा चुनाव में 4 दिन बाद वोटिंग है। भाजपा को इस ऐलान का फायदा मिल सकता है।

नौकरीपेशा की ₹12.75 लाख तक की इनकम टैक्स फ्री

नौकरीपेशा लोगों को नई टैक्स रिजीम चुनने पर सालाना ₹12.75 लाख तक की इनकम पर कोई टैक्स नहीं देना होगा। यह फायदा ऐसे मिलेगा…

  • ₹0 से ₹4 लाख – शून्य
  • ₹4 से ₹8 लाख – 5%
  • ₹8 से ₹12 लाख – 10%

दूसरे और तीसरे स्लैब के टैक्स सरकार 87A के तहत माफ कर देगी। इसके अलावा ₹75 हजार का स्टैंडर्ड डिडक्शन भी मिलेगा। इस तरह नौकरीपेशा लोगों की कुल ₹12.75 लाख की इनकम टैक्स फ्री हो जाएगी।

ध्यान रहे कि यह राहत केवल नौकरीपेशा लोगों के लिए है। अन्य किसी भी जरिए से आमदनी होने पर टैक्स में छूट की सीमा केवल ₹12 लाख ही रहेगी। साथ ही अब सभी टैक्सपेयर्स पिछले 4 साल का IT रिटर्न एकसाथ फाइल कर सकेंगे। इससे पहले तक यह लिमिट 2 साल थी। वहीं सीनियर सिटिजंस के लिए TDS की सीमा ₹50 हजार से बढ़ाकर ₹1 लाख कर दी गई है।

टैक्स स्लैब में बदलाव को ग्राफिक से समझें…

टैक्स में फायदा कैसे मिलेगा, जानिए विस्तार से…

बुजुर्गों के लिए: टैक्स में डबल छूट

  • बुजुर्गों को FD पर मिलने वाले 50 हजार ब्याज पर TDS नहीं लगाया जाता था। अब इसे बढ़ाकर एक लाख कर दिया गया है। यानी किसी डिपॉजिट से उन्हें अगर एक लाख ब्याज मिल रहा है, तो उन्हें TDS नहीं देना होगा। 10 करोड़ से ज्यादा बुजुर्गों को फायदा होगा।
  • नेशनल सेविंग स्कीम खाते से 29 अगस्त 2024 के बाद निकाली गई रकम को टैक्स के दायरे से बाहर कर दिया जाएगा।

महिलाओं के लिए: 2 करोड़ तक का टर्म लोन

  • 5 लाख एससी-एसटी महिलाएं, जो पहली बार आंत्रप्रेन्योर बनी हैं, उन्हें अगले 5 साल में 2 करोड़ तक का टर्म लोन दिया जाएगा।
  • आंगनवाड़ी योजना के तहत देश भर में 8 करोड़ से अधिक बच्चों और 1 करोड़ गर्भवती महिलाओं को पौष्टिक भोजन दिया जाएगा।
  • महिलाओं के लिए मिशन शक्ति योजना को 3 हजार 150 करोड़ का बजट दिया गया है। बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाई, नारी अदालत, महिला हेल्पलाइन, महिला पुलिस वॉलंटियर योजनाओं को इसमें से 629 करोड़ रुपए मिलेंगे।
  • स्वधार गृह, मातृ वंदन, वर्किंग वुमंस हॉस्टल और नेशनल क्रेच जैसी स्कीम्स को 2 हजार 521 करोड़ का बजट दिया गया है। निर्भया फंड के तहत चल रही योजनाओं के लिए 30 करोड़ का बजट है।
  • नॉर्थ-ईस्ट में महिला-बाल विकास के लिए 2 हजार 615 करोड़ की योजनाएं, राज्य सरकारों को 22 हजार 195 करोड़ की मदद और केंद्र शासित प्रदेशों में महिला और बाल विकास के प्रोग्राम चलाने के लिए 897 करोड़ रुपए दिए जाएंगे।

युवाओं और रोजगार के लिए: मेडिकल की 75 हजार सीटें बढ़ेंगी

  • स्टार्टअप के लिए 10 हजार करोड़ रुपए का फंड बनेगा।
  • 500 करोड़ रुपए से 3 Ai (आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस) एक्सीलेंस सेंटर बनेंगे।
  • मेडिकल एजुकेशन में अगले 5 साल में 75 हजार सीटें बढ़ेंगी। एक साल में 10 हजार सीटें बढ़ाई जाएंगी।
  • देश में 23 IIT में 6500 सीटें बढ़ाई जाएंगी। पटना IIT के हॉस्टल का विस्तार किया जाएगा।
  • पीएम रिसर्च फेलोशिप के तहत 10 हजार नई फेलोशिप दी जाएगी।
  • रोजगार के लिए सरकार ने अलग से कोई घोषणा नहीं की। हालांकि सीतारमण ने कई योजनाओं का ऐलान करते हुए यह जरूर कहा कि इनसे रोजगार का सृजन होगा।

भास्कर कार्टूनिस्ट मंसूर की नजर से बजट…

किसानों के लिए: पीएम धन-धान्य योजना, 1.7 करोड़ लोगों को फायदा

  • कम उत्पादकता वाले 100 जिलों में पीएम धन-धान्य कृषि योजना लागू की जाएगी। इसके तहत प्रोडक्शन बढ़ाया जाएगा। पंचायत लेवल पर स्टोरेज की व्यवस्था की जाएगी। 1.7 करोड़ किसानों को फायदा होगा।
  • किसान क्रेडिट कार्ड (KCC) की लिमिट 3 लाख से बढ़ाकर 5 लाख रुपए हुई।
  • डेयरी और मछली पालन के लिए 5 लाख रुपए तक का लोन दिया जाएगा।
  • दालों में आत्मनिर्भरता हासिल करने के लिए 6 साल का मिशन होगा। इसके तहत नेफेड और दूसरी केंद्रीय एजेंसियां किसानों से अगले 4 साल तक दाल की खरीद करेंगी।
  • कपास उत्पादन के लिए 5 साल की कार्ययोजना। प्रोडक्शन, मार्केटिंग पर फोकस रहेगा। असम के नामरूप में नया यूरिया प्लांट लगेगा।

शिक्षा के लिए: सभी माध्यमिक विद्यालयों में इंटरनेट

  • देश में ज्ञान भारत मिशन शुरू होगा। 1 करोड़ मैनुस्क्रिप्ट का डिजिटलाइजेशन होगा।
  • सभी सरकारी माध्यमिक विद्यालयों और प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों को ब्रॉडबैंड कनेक्टिविटी।
  • स्किल बढ़ाने के लिए राष्ट्रीय स्तर के 5 सेंटर बनाए जाएंगे।

स्वास्थ्य के लिए: 200 डे केयर कैंसर सेंटर बनेंगे

  • सरकार ने 36 जीवन रक्षक दवाएं पूरी तरह से टैक्स फ्री कर दी हैं। कैंसर जैसी भयावह बीमारी से जूझ रहे लोगों और परिवारों को राहत देने के लिए अगले 3 सालों में सभी जिला अस्पतालों में 200 डे केयर कैंसर सेंटर बनाएगी।

ऑनलाइन डिलिवरी, कैब चलाने वालों को आईकार्ड, PMJAY का फायदा

1 करोड़ GIG वर्कर्स यानी फूड डिलीवरी करने वाले, कैब चलाने वाले और ऑनलाइन डिलिवरी करने वाले वर्कर्स को आईकार्ड दिए जाएंगे। इनका ई-श्रम पोर्टल पर रजिस्ट्रेशन किया जाएगा। इन्हें प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना के तहत स्वास्थ्य सुविधाओं का फायदा भी मिलेगा। रिपोर्ट के मुताबिक 2030 तक इन GIG वर्कर्स की संख्या 23 करोड़ से ज्यादा हो जाएगी।

देश को खिलौना हब बनाया जाएगा, अभी 64% आयात चीन से

  • देश को खिलौनों के लिए बड़ा केंद्र बनाने के लिए नेशनल एक्शन प्लान बनाया जाएगा। हम क्लस्टर्स का डेवलपमेंट करेंगे। स्किल और मैन्युफैक्चरिंग के लिए इको सिस्टम बनाया जाएगा। इससे हाईक्वालिटी, अनोखे, इनोवेटिव और लंबा चलने वाले खिलौने बनेंगे।
  • इन उत्पादों की वैश्विक मांग में समग्र गिरावट के कारण भारत का खिलौना निर्यात 2021-22 में 177 मिलियन अमेरिकी डॉलर से घटकर 2023-24 में 152 मिलियन अमेरिकी डॉलर हो गया।
  • पिछले एक दशक में भारत खिलौनों के लिए चीन पर निर्भर होता जा रहा है। फिलहाल देश औसतन 76% खिलौना आयात करता है।

जनजातियों के लिए DAJGUA का बजट चार गुना, 30 राज्यों में असर

  • जनजातियों के कल्याण के लिए बजट 14 हजार 925 करोड़ कर दिया गया है। पिछले साल यह 10 हजार 237 करोड़ के करीब था। यानी इस साल इसमें 45% की बढ़ोतरी की गई है।
  • एकलव्य बोर्डिंग स्कूलों के लिए 7 हजार करोड़ से ज्यादा बजट दिया गया है। जनजातीय विकास मिशन के लिए 380 करोड़ रुपए दिए जाएंगे। प्रधानमंत्री आदि आदर्श ग्राम योजना में 335 करोड़ से ज्यादा का बजट है।
  • धरती आभा जनजातीय ग्राम उत्कर्ष अभियान (DAJGUA) का बजट 500 करोड़ से चार गुना बढ़ाकर 2 हजार करोड़ कर दिया गया है। इससे 63 हजार 843 गांवों में स्वास्थ्य सुविधाएं, शिक्षा, आंगनवाड़ी सुविधाओं का इजाफा होगा। 30 राज्यों के 549 जिलों में 5 करोड़ जनजातीय लोगों को इसका फायदा मिलेगा।