90 लाख की ऑनलाइन ठगी:शेयर में मुनाफे का झांसा देकर सबसे ज्यादा ठगी इनकी फर्जी साइट की पहचान करें एक क्लिक में

रायपुर// राजधानी में पदस्थ एक बीएसएफ के अधिकारी से 90 लाख की ऑनलाइन ठगी हो गई। ठगों ने फर्जी वेबसाइट और एप बनाकर ट्रेडिंग कराई और खाते में सेंध लगा दी। पिछले साल ऑनलाइन ठगी के 102 मामले दर्ज हुए। इनमें सबसे ज्यादा 34 केस में शेयर में मुनाफे का झांसा दिया गया। इसी तरह फर्जी वीडियो और फोटो भेजकर लोगों से ब्लैकमेलिंग की घटनाएं बढ़ती जा रही हैं।

फेक वीडियो के दिखाकर उन्हें कानूनी कार्रवाई का डर दिखाकर पैसे ऐंठे जा रहे हैं। आईटी में एक्सपर्ट तक फर्जी वेबसाइट और टेंपर वीडियो की पहचान नहीं कर पा रहे हैं। देश में अभी सबसे ज्यादा ठगी इसी फार्मूले से हो रही है। जबकि ए​क क्लिक से फर्जी वेबसाइट की पहचान की जा सकती है।

भास्कर एक्सपर्ट इशांत सिन्हा का कहना है 95 फीसदी ठगी के मामले में पीड़ित की ही गलती रहती है। वे खुद ही अपने खाते की पूरी जानकारी देते हैं या फिशिंग लिंक अथवा एप को डाउनलोड करते हैं। गुगल प्लेटफार्म और इंटरनेट में बहुत टूल या विकल्प हैं, जिससे फर्जी वेबसाइट की जांच की जा सकती है।

एमसीए की साइट से पता करें सच
असली साइट की जांच करने के लिए एमसीए (मिनिस्ट्री ऑफ कार्पाेरेट अफेयर) की साइट में जाकर कंपनी का नाम टाइप करें। वहां कंपनी का नाम दर्ज है या नहीं ये देखें। असली वेबसाइट में प्राइवेसी पॉलिसी पेज होता है, जबकि नकली साइट और एप में ऐसा नहीं होता है। इसी तरह हर साइट में who is रिकॉर्ड चेक करने का विकल्प होता है।

who.is में जाकर देखें। इसमें कंपनी का नाम और मालिक का नाम दिया होता है। फर्जी में सिर्फ शब्द लिखा नजर आएगा है। फर्जी साइट बनाने वाले ठग ऐसी जगहों पर xyz लिखते हैं ताकि लोग कन्फ्यूज हो जाएं। यहां सबसे महत्वपूर्ण बात ये है कि असली साइट में एसएसएल (https/) से ही शुरू होती है।

सर्च इंजन में जीमेल खोलते ही उसमें लॉक दिखाई देता है। यह हमेशा लॉक होना चाहिए।

2023 में 4000 से ज्यादा शिकायतें आई थीं, 102 एफआईआर हुई।

फर्जी वीडियो की जांच
साइबर एक्सपर्ट के अनुसार fotoforensics.com और duplichecker.com एप से किसी भी टेंपर वीडियो और फोटो की जांच की जा सकती है। इसमें फर्जी या टेंपर फोटो की असली जानकारी मिल जाती है। फोटो-वीडियो किसने खींची, कब खींची इसकी पूरी जानकारी दी जाती है। इसमें किस फोटो को टेंपर किया गया है। ये भी पता चल जाता है कि कब और किस समय टेंपर यानी उसके साथ छेड़छाड़ की गई है।

ई-मेल को करें लॉक: ई-मेल और सोशल मीडिया अकाउंट को लॉक करें। सर्च इंजन के पास https://mail.google.com ​टाइप करें। इसमें ताला दिखाई देता है। यह अगर बंद है तो मेल सु​रक्षित है। इसमें क्लिक करें। उसमें जाकर सिक्योर में आकर जांच करें कि ई-मेल सुरक्षित है कि नहीं।

एक्सपर्ट दे रहे हैं सुरक्षा के सुझाव

  • अज्ञात लिंक पर क्लिक न करें।
  • डेबिट और क्रेडिट कार्ड से अंतर्राष्ट्रीय लेनदेन बंद करें।
  • लेनदेन टैप बंद करें।
  • पीओएस लेनदेन बंद करें इसे केवल तभी चालू करें जब आप लेनदेन भौतिक करें।
  • किसी के द्वारा भेजे गए अज्ञात क्यूआर कोड को स्कैन न करें।
  • आपको संदेश भेजने वाले वर्चुअल नंबरों को ब्लॉक करें। +1, +44, +63.
  • फर्जी लोन एप का इस्तेमाल न करें
  • ऐप्स केवल Google Play या Apple App Store से ही डाउनलोड करें।