5 दिन में 10 मौत- सांसद ने बढ़ते दुर्घटनाओं पर पुलिस व प्रशासन से किया सवाल,क्या कर रहे हैं उपाय…?

Last Updated on 8 months by City Hot News | Published: April 11, 2024

कोरबा / कोरबा जिले के बालको क्षेत्र में रूमगड़ा बालको मार्ग पर बुधवार देर रात भारी वाहन की टक्कर से तीन युवकों की असामयिक दर्दनाक मौत पर कोरबा लोकसभा की सांसद ज्योत्सना चरणदास महंत ने गहरा दु:ख व्यक्त किया है।
सांसद ने जिले में बढ़ते सड़क हादसों के मामलों पर अपनी चिंता व्यक्त करते हुए जिला प्रशासन, पुलिस और परिवहन विभाग के अधिकारियों से कड़े शब्दों में सवाल किया है कि आखिर वे कर क्या रहे हैं ? पिछले 5 दिनों के भीतर विभिन्न सड़कों पर 10 से अधिक मौतें हुई हैं जो यातायात व्यवस्था पर सवाल उठाने वाला है। सांसद ने कहा है कि इसी साल मार्च महीने में जिला स्तरीय सड़क सुरक्षा समिति की बैठक उन्होंने ली थी और बैठक में कलेक्टर श्री अजीत वसंत, जिला पुलिस अधीक्षक श्री सिद्धार्थ तिवारी, जिला परिवहन अधिकारी ने सड़क दुर्घटनाओं पर नियंत्रण के लिए दुर्घटनाओं का कारण जानकर उसका विश्लेषण करते हुए उचित उपाय करने की बात कही थी लेकिन जिस तरह से जिले से गुजरे हुए नेशनल हाईवे से लेकर आम सड़कों पर हादसों की संख्या बढ़ रही है, वह जिला प्रशासन, पुलिस प्रशासन और परिवहन विभाग की नाकाम कोशिशों को दर्शाता है। सांसद ने कहा कि भारी वाहनों की रफ्तार पर नियंत्रण के लिए उचित उपाय किया जाना जरूरी है,जिसके लिए प्रशासन गंभीरता दिखाए। हर दिन हादसे में किसी की मौत हो रही है तो कोई अपंग हो रहा है,जिंदगी और मौत से जूझ रहा है लेकिन प्रशासन सिर्फ हादसों के विश्लेषण में ही लगा हुआ है। आखिर वे किस तरह का उपाय कर रहे हैं जो कारगर साबित नहीं हो रहा और रफ्तार पर लगाम नहीं लग पा रही है।
सांसद श्रीमती महंत ने कहा है कि दुर्घटनाओं की रोकथाम एवं सड़क सुरक्षा एवं यातायात व्यवस्था को सुगम बनाने के लिए सार्वजनिक उपक्रम एसईसीएल, बाल्को, पीडब्ल्यूडी, नेशनल हाईवे, एनएचएआई, एनएचपीडब्ल्यूडी, परिवहन, यातायात विभाग के अधिकारियों को भी अपनी भूमिका निभानी होगी लेकिन वे भी गंभीर नहीं हैं। आवश्यकतानुसार सड़कों पर संकेतक लगाने, मरम्मत योग्य सड़कों का शीघ्रता से मरम्मत करने, धूल उड़ने वाले मार्गों पर नियमित पानी का छिड़काव करने तथा सड़क पर जाम लगने से रोकने के लिए भारी वाहन चलने वाले मार्ग के आसपास पार्किंग की व्यवस्था सुनिश्चित करने के साथ ही आवश्यक ब्रेकर तथा संकेतक लगाने के कार्यों में भी कोई गंभीरता नजर नहीं आ रही है। शहर के भीतर दिन भर जाम में लोग उलझ रहे हैं,यातायात की समस्या दिनों दिन बढ़ती जा रही है लेकिन अभी तक सिर्फ उपाय ही हो रहे हैं,जो चिंताजनक है।