करंट से बाघ की मौत, शिकारियों ने चुपचाप दफनाया:वन विभाग ने कब्र खोदकर निकाली लाश, अंग निकालकर जांच के लिए भेजा; 5 आरोपी गिरफ्तार…
Last Updated on 10 months by City Hot News | Published: January 27, 2024
सारंगढ़-बिलाईगढ़// सारंगढ़-बिलाईगढ़ जिले के गोमर्डा अभयारण्य में करंट लगने से एक बाघ की मौत हो गई। जंगली सुअर का शिकार करने के लिए बिछाए गए इलेक्ट्रिक वायर की चपेट में बाघ आ गया। इधर घटना को छिपाने के लिए शिकारियों ने शव को दफना भी दिया। इस मामले में 5 आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है।
जानकारी के मुताबिक, करीब एक महीने पहले ओडिशा से लगे उदंती सीतानदी अभयारण्य वाइल्ड सेंचुरी से एक बाघ सारंगढ़-बिलाईगढ़ जिले के गोमर्डा अभयारण्य में आ पहुंचा था। उसने यहां एक मवेशी का शिकार भी किया था। इसके बाद वन विभाग की टीम उसके मूवमेंट पर लगातार नजर रख रही थी।
बाघ के शव का विधिवत दाह संस्कार किया गया।
जंगली सुअर के लिए बिछाए गए करंट की चपेट में आया बाघ
इस बीच अचानक 12 जनवरी के बाद इलाके में बाघ दिखना बंद हो गया। वन विभाग के अधिकारियों ने किसी अनहोनी घटना की आशंका से अपने मुखबिरों को एक्टिव किया। 24 जनवरी को वन विभाग को सूचना मिली कि कुछ लोगों ने अवैध तरीके से करंट प्रवाहित तार बिछा रखा है, जिसकी चपेट में आकर बाघ की मौत हो चुकी है। वहीं आरोपियों ने बाघ को दफना भी दिया है।
बाघ के शव का किया गया अंतिम संस्कार
इसके बाद आनन-फानन में वन विभाग की टीम ने ग्राम घोराघाटी से 3 और ग्राम सालर से 2 शिकारियों को हिरासत में ले लिया। जब पांचों से कड़ाई से पूछताछ की गई, तो उन्होंने अपना जुर्म कबूल कर लिया है। आरोपियों की निशानदेही पर वन विभाग ने कब्र की खुदाई कर बाघ के शव का पंचनामा किया।
इसके बाद रायपुर से आए फॉरेंसिक एक्सपर्ट और वन अधिकारियों की देखरेख में शव का पोस्टमॉर्टम किया गया। बाद में बाघ के शव का विधिवत दाह संस्कार किया गया। आरोपियों ने पूछताछ में बताया कि उनके द्वारा बिछाए गए करंट प्रवाहित तार की चपेट में आकर नर बाघ की मौत हो गई, तब वे डर गए। उन्होंने शव को लात नाले के किनारे दफना दिया।
लोगों का कहना है कि बार-बार शिकायत के बाद भी शिकारियों पर कोई ठोस कारवाई नहीं की जा रही है।
लगातार जारी है वन्यप्राणियों का शिकार
वन विभाग की लापरवाही के कारण एक साल के अंदर 2 हाथियों समेत कई वन्यप्राणी करंट की चपेट में आकर जान गंवा चुके हैं। जंगल से सटे हुए गांव के ग्रामीणों का कहना है वन विभाग का रवैया संदिग्ध है। आए दिन शिकारी करंट लगाकर जानवरों का शिकार कर रहे हैं, लेकिन गश्त में लगे वनरक्षक सिर्फ घर बैठे अपनी ड्यूटी निभा रहे हैं।
शिकारियों पर ठोस कारवाई की जरूरत
लोगों का कहना है कि बार-बार शिकायत के बाद भी शिकारियों पर कोई ठोस कारवाई नहीं की जा रही है। इस बारे में गोमर्डा अभयारण्य के अधीक्षक कृष्णु चंद्राकर का कहना है कि बाघ के शव के सभी अंग बरामद कर लिए गए हैं। पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट का इंतजार है। आरोपियों पर वन अधिनियम की विभिन्न धाराओं के तहत कार्रवाई की गई है। पांचों शिकारियों को कोर्ट ने न्यायिक रिमांड पर जेल भेज दिया है।
आरोपियों को कोर्ट ने न्यायिक रिमांड पर जेल भेज दिया है।
इन आरोपियों की हुई गिरफ्तारी
आरोपियों ने नाम सीताराम सिदार (33), रामचरण बरिहा (48), सहदेव बरिहा (35), बंशीलाल बरिहा (63) है। ये सभी ग्राम घोराघांटी जिला सारंगढ़-बिलाईगढ़ के निवासी हैं। वहीं आरोपी धनुराम उर्फ भुनेश्वर साहू (35) ग्राम सालर जिला सारंगढ़ का रहने वाला है।