CG News:: तहसीलदार से भिड़े बीजेपी नेता: सरकारी आदेश फाड़कर कहा- हत्या कर दीजिए, जेल ले चलिए; अफसर ने नाम पूछा तो बोले- गूगल करिए.
Last Updated on 2 years by City Hot News | Published: April 14, 2023
रायपुर।।रायपुर में भाजपा नेता गौरी शंकर श्रीवास और तहसीलदार के बीच तीखी बहस बाजी हुई। बीजेपी नेता ने सरकारी आदेश की कॉपी को फाड़कर कहा, आप लोग पुलिस लेकर आए हैं, हम लोगों की हत्या कर दीजिए, जेल ले जाइए। बाबा अंबेडकर ने धरना-प्रदर्शन करने का हमे मौलिक अधिकार दिया है।
रायपुर में भाजपा नेता गौरी शंकर श्रीवास और तहसीलदार के बीच तीखी बहस बाजी हुई।
जब जिला प्रशासन के अधिकारी ने जब उनका नाम पूछा तो उन्होंने कहा कि, गूगल करके देख लीजिए, नाम-पता सब मिल जाएगा। इसके बाद भाजपा नेता भी धरने पर बैठ गए। दरअसल ये पूरा मामला रायपुर में जारी रसोइया संघ के आंदोलन से जुड़ा है।
धरने पर बैठीं रसोइया संघ की महिलाएं।
संगठन की महिलाएं नवा रायपुर के तूता में धरना दे रही हैं। इन्हें हटाने के लिए पुलिस और जिला प्रशासन के अधिकारी पहुंचे। इस दौरान भाजपा नेता गौरी शंकर श्रीवास ने कार्रवाई का विरोध कर दिया।
जिला प्रशासन के अधिकारी धरना स्थल पर पहुंचकर इन महिलाओं को धरना खत्म करने को कहा। तो विरोध प्रदर्शन कर रही महिलाओं ने वीडियो जारी करके मदद मांगी। जिसके बाद गौरी शंकर श्रीवास मौके पर पहुंचकर अफसरों की कार्रवाई को असंवैधानिक बताया।
गौरी शंकर श्रीवास ने कहा, जानबूझकर प्रशासन रसोइया संघ की प्रांत अध्यक्ष नीलू ओगरे को परेशान कर रहा है। जो धरने पर बैठीं हैं। हाल ही में उनके साथ पुलिस ने गिरफ्तारी के नाम पर अभद्र व्यवहार किया। अनुमति होने के बाद भी अब धरना देने से रोका जा रहा है। नीलू ओगरे ने इस पर कहा कि हम हटने वाले नहीं हैं। अपनी जायज मांगों को लेकर आंदोलन करना हमारा संवैधानिक अधिकार है।
धरने के समर्थन में बैठे भाजपा नेता गौरी शंकर श्रीवास।
समझिए इन रसोइयों के काम-काज को
प्रधानमंत्री पोषण शक्ति निर्माण योजना (मिड-डे मील योजना) अंतर्गत छत्तीसगढ़ के 33 जिलों में 146 विकासखंडों में संचालित 45,610 शालाओं में अध्ययनरत 29 लाख 93 हजार 170 बच्चों के लिए 87 हजार 026 रसोइया भोजन बनाते हैं। रसोइया एवं रसोइया सह सहायिका का मानदेय वर्तमान में 1500/- प्रतिमाह है। ये हर वित्तीय वर्ष में केवल 10 माह ही इन्हें दिया जाता है।
जानिए क्या है इनकी मांगे
इस काम से जुड़े पुरुष महिलाओं का कहना है कि, इससे मानदेय में आर्थिक समस्या का सामना करना पड़ रहा है। मानदेय में बढ़ोतरी (कलेक्टर दर पर) किये जाने के लिए कई बार आवेदन दिए। लेकिन किसी ने बात नहीं सुनी। हाल ही में शासन ने 300 रुपए मानदेय बढ़ाया है। जोकि ये नाकाफी है। कलेक्टर दर पर मानदेय हासिल करने की मांग को लेकर रायपुर में रसोइया महिलाओं का आंदोलन चल रहा है।